नाराज मुस्लिमों ने जिला वक्फ कार्यालय को लगाया ताला

जालना: जालना शहर के ४०० साल के इतिहास के गवाह रहे काद्राबाद इस्टेट के मूर्ति बेस को परिसर के धन्नासेठों से मिलीभगत कर जालना नप प्रशासन और वक्फ अधिकारियों ने रात को इस तरह ढहा दिया. इस तरह चोर उचक्कों की तरह की गई कार्रवाई से शहर का मुस्लिम समाज नाराज है. आज सैकड़ों की संख्या में मुस्लिमों ने जिला वक्फ कार्यालय पर मोर्चा निकाला. लेकिन पिछले तीन दिन से गायब जिला वक्फ अधिकारी आज भी नदारद ही था. जिसके बाद अधिकारी की कुर्सी को फूल माला पहनाई गई तथा बोर्ड के जालना ऑफीस को ताला जड़ दिया गया.

शहर के दस में से ७ ऐतिहासिक दरवाजे असुरक्षित * शहर की जनता की जान जोखिम में

जालना: जालना शहर के मूर्ति बेस के प्रकरण ने इस शहर के अन्य ऐतिहासिक दरवाजों की सुरक्षा को लेकर भी पोल खोल कर रख दी है. मानवाधिकार आयोग के कड़े रुख के चलते प्रशासन पसोपेश में है. नगर विकास विभाग के मुख्य सचिव ने आयोग को बताया कि शहर के १० में से केवल तीन बेस सुरक्षित है. जिसका साफ मतलब है की शहर की जनता अपनी जान जोखिम में डालकर दरवाजों से गुजर रही है. 

आशुरखाना-मूर्ती बेस के भूखंड की गिनती कर सुरक्षित करने की मांग **वक्फ मुख्याधिकारी से मौके पर पहुंच अपनी निगरानी में पंचनामा कराने की मांगवक्फ मुख्याधिकारी से मौके पर पहुंच अपनी निगरानी में पंचनामा कराने की मांग

जालना:  जालना शहर के क्षतिग्रस्त मूर्ति बेस का बड़ा हिस्सा यह कहकर तोडा गया था की यहां पर उसी तरह का बेस नए से बनाया जाएगा. लेकिन इन दिनों चचाएं यह चल पडी ही की जिलाधिकारी कार्यालय द्वारा वक्फ बोर्ड को बेस को पूरी तरह सड़क से हटाकर सड़क का व्यवधान दूर किया जाए. इस बात में कितनी सच्चाई है इसका पता तो नहीं चल सका है. अलबत्ता आशुरखाना मूर्ति बेस के भूखंड को सुरक्षित रखने की दिशा में लोग कोशिश करते नजर आ रहे है. 



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