
उर्स को लेकर जालना में जलसा ए दस्तारबंदी की तैयारियां पूरी * दरगाह हजरत सैय्यद अहमद शेर सवार का ७४५ वा उर्स * देश भर से उलमा ए अहले सुन्नत दर्ज करवाएंगे उपस्थिति
* जिलाधिकारी ने जारी की सरकारी छुट्टी
जालना: ईलाका ए दक्खन के मशहूर सूफी बुजुर्ग हजरत सैयद अहमद शेर सवार ना केवल मराठवाडा बल्कि राज्य पर में राष्ट्रीय एकता के प्रतीक के रूप में अपनी एक अलग पहचान रखते है. इस बार उनके ७४५ वे उर्स में देश भर के उलेमा ए अहले सुन्नत जलसा ए दस्तारबंदी में अपनी उपस्थिति दर्ज करवाकर अजिमोशान दीनी इजतेमा इस्तेमा/ जलसा कॉन्फ्रेंस में भाग लेंगे.

इस संदर्भ में दरगाह राजा बाग शेर सवार के इनामदार व मुतवली सैयद जमील मौलाना ने बताया की रविवार २९ जनवरी से ३१ जनवरी तक विविध कार्यक्रमों का आयोजन किया गया है. जियारत करने वालों को सुविधा हो तथा दूर दराज के लोग भी उर्स में पहुंच सके. इस उद्देश्य से जालना जिलाधिकारी ने सोमवार को सरकारी छुट्टी की घोषणा की है.

उर्स के मुख्य कार्यक्रम २९ जनवरी रविवार की सुबह खत्म ए खाजगान, दोपहर दो बजे दरगाह में कुरान खानी, असर की नमाज के बाद शाम पांच बजे खत्म ए कादरिया, नूरी महफिल, खुल शरीफ के साथ ही संदल पोशी की जाएगी. मगरिब की नमाज के बाद लंगर ए ख्वाजा गरीब नवाज का आयोजन होगा.
* पैगंबर मोहम्मद सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम के मुंए मुबारक का दीदार
रविवार को मगरिब की नमाज के बाद से दरगाह परिसर में लोगों को पैगंबर मोहम्मद सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम के मुंए मुबारक का दीदार करने का मौका मिलेगा. साथ ही इस्लाम से जुड़ी कई ऐतिहासिक वस्तुओं का भी लोग दीदार कर सकेंगे. इसमें जियारत ए मुए मुबारक, गिलाफ ए काबा शरीफ, गिलाफ मजारे अक्दस पैगंबर मोहम्मद सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम, अंदरूनी खाके गुंबदे खिजरा से बनी हुई मोहरे नबूवत शरीफ, अंदरूनी खाना ए काबा शरीफ का संगमरमर तथा हजरत सैयद अहमद शेर सवार का कासा शरीफ की जियारत का मौका सभी को मिलेगा.

* ईशा की नमाज के बाद जलसा ए दस्तारबंदी
रविवार की ईशा की नमाज के बाद रात ९ बजे दरगाह परिसर में आयोजित होने वाले जलसा ए दस्तारबंदी कार्यक्रम की शुरुआत तिलावते कुरान से की जाएगी. रजा अकादमी के संस्थापक अध्यक्ष मुंबई के मौलाना अलहाज सईद नूरी साहब करेंगे. इस समय प्रमुख वक्ता के रूप में हजरत मौलाना हस्सान रजा खान (सज्जादानशीन खान खां ए रजविया तहसिनिया बरेली शरीफ उत्तर प्रदेश) और अल्लामा मुफ्ती सगीर अहमद जोखनपुरी (नाजिम आला जमीयतुल कादरिया – रिछा बरेली शरीफ उत्तर प्रदेश) उपस्थित रहकर लोगों का मार्गदर्शन करेंगे.

* २० साल में पढ़कर फारिग हुए उलमा और हुफ्फाजों का होगा सम्मान
जालना में रजा अकादमी द्वारा वर्ष २००३ से अब तक तालीमी खिदमत के २० साल पूरे होने के चलते दारुल उलूम गुलशन ए कादरिया अनवारे रजा जालना के फारिग हुए १०० से अधिक उलमा और हुफ्फाजों को सनद देकर सम्मानित किया जाएगा. इसी के साथ इस साल जिन चार विद्यार्थियों ने हाफिज का कोर्स पूरा किया है उन्हें भी पदवी देकर सम्मानित किया जाएगा.

*अंग्रेजी स्कूलों के बच्चों का तालीमी मुजाहिरा
शहर के अंग्रेजी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चे भी दीन की शिक्षा हासिल करें इस उद्देश्य से जालना में रजा अकादमी द्वारा चलाए जा रहे आलिम कोर्स क्लासेस में पढने वाले बच्चे इस जलसे में अरबी, इंग्लिश और उर्दू भाषाओं में अब तक हासिल की कई तालीम का मुजाहिरा सभी के सामने पेश करेंगे.
* ३० जनवरी सोमवार को बज़्म ए नाते रसूल सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम
सोमवार को भी दरगाह परिसर में उर्स को लेकर विविध कार्यक्रम संपन्न होंगे. जिसके तहत ईशा की नमाज के बाद रात ९ बजे बज़्म ए नाते रसूल सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम का आयोजन होगा. इस कार्यक्रम में मौलाना सैयद इरशाद रजा बरकाती उस्मानाबाद, अहमद रजा नूरी मियां मुंबई, हाफिज व कारी मोहम्मद वसीम रजा हशमती परभणी की प्रमुख उपस्थिति रहेगी.

* रविवार को महिलाओं को प्रवेश की पाबंदी
जमील मौलाना ने बताया की उर्स के उपलक्ष्य में आयोजित होने वाले सभी कार्यक्रम उलेमा ए अहले सुन्नत की सरपरस्ती में शरीयत के सभी नियमों का पालन कर संपन्न होंगे. उर्स के दिन बडी संख्या में यहां सभी धर्म और समाज के लोग पूरी अकीदत के साथ पहुंचते है. ऐसे में महिलाओं और पुरुषों में खलत-मलत(धक्काबुक्की) की संभावना अधिक होती है. इसलिए रविवार का दरगाह में महिलाओं के प्रवेश पर पाबंदी रहेगी. सोमवार को महिलाओं के लिए दरगाह में प्रवेश रहेगा. इसी के साथ उर्स में किसी भी तरह की खुराफात, बिदअत, नाच गाना, बाजा वगैरह पर मुकम्मल पाबंदी रहेगी.
जमील मौलाना ने बताया की दरगाह हजरत सैय्यद अहमद शेर सवार मराठवाड़ा के साथ राज्य भर में राष्ट्रीय एकता का प्रतीक है. उर्स में जुमला सलासील के मशायक, सोफिया, मूरीदीन, मुतवस्सीलीन बडी संख्या में पहुंचते है. सभी धर्म और समाज के लोगों के साथ ही सभी राजनीतिक पार्टियों के नुमाइंदे भी अपनी उपस्थिति दर्ज करवाते है. उर्स के मौके पर आयोजित विविध कार्यक्रमों में बड़ी संख्या में उपस्थित रहने का आह्वान रजा अकादमी जालना तथा दरगाह के इनामदार व मुतवली सैयद जमील मौलाना
