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स्कूल और कॉलेज में विद्यार्थियों की सुरक्षा के लिए पुलिस काका और दीदी संक्लपना होगी साकार

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* जिले के १८ पुलिस थानों में एक अधिकारी और दो अमलदार होंगे नियुक्त

* क्षेत्र के स्कूल कॉलेजों को नियमित दौर कर विद्यार्थियों से साधेंगे संवाद

जालना: स्कूल और कॉलेज परिसर में छात्राओं के साथ होने वाली छेड़छाड़, विद्यार्थियों के साथ की जाने वाली रैगिंग जैसी घटनाओं पर लगाम लगाने के साथ ही विद्यार्थियों को यातायात नियम, नशाखोरी, साइबर अपराध पर रोक लगाने के लिए पुलिस ने अब पुलिस काका और पुलिस दीदी संकल्पना शुरू की है. जिसके तहत पुलिस कर्मचारी विद्यार्थियों के साथ मित्रता वाला रवैया रखते हुए उनसे मेल जोल बढाएंगे.  

इस संकल्पना को साकार करने के उद्देश्य से मंगलवार को पुलिस अधीक्षक कार्यालय में जिले के सभी १८ पुलिस थानों के अधिकारियों की एक दिवसीय कार्यशाला संपन्न हुई.

इस संकल्पना को जालना जिले के सभी पुलिस थानों में लागू कर  थाना अंतर्गत सभी स्कूलों और स्कूली विद्यार्थियों में  सुरक्षा की भावना पैदा करने उनके मन में पुलिस को लेकर जो डर है उसे दूर करने, उनमें पुलिस को लेकर अपनापन की भावना निर्माण करने की दिशा में कार्य किया जाए. इसके जरिए विद्यार्थियों को हर स्थिति से मुकाबला करने को लेकर बताया जाएगा  गुड टच-बैड टच सहित अन्य मुद्दों को लेकर सतर्क कर ऐसी स्थिति में क्या करना चाहिए इसको लेकर जागृत किया जाएगा.  

मंगलवार को संपन्न हुई कार्यशाला में बताया गया कि  जिले के 18 थानों के कुल 18 अधिकारियों एवं 42 प्रवर्तकों को एक दिवसीय प्रशिक्षण दिया गया.  प्रत्येक पुलिस थाने से  1 अधिकारी और दो अमलदार पुलिस काका और पुलिस दीदी के रूप में नियुक्त होंगे. 

फोटो: मंगलवार को जिला पुलिस अधीक्षक कार्यालय में पुलिस दादा पुलिस दीदी संकल्पना के तहत एक दिवसीय कार्यशाला संपन्न हुई.

वे अपने क्षेत्र के हर स्कूल, कॉलेज में जाकर छात्रों से बातचीत करेंगे और उनकी समस्याओं को समझेंगे और उनका सही मार्गदर्शन करेंगे. 

उक्त प्रशिक्षण के दौरान पुलिस अधीक्षक डॉ अक्षय शिंदे ने भी मार्गदर्शन किया. इस समय  गुन्हा शाखा पुलिस निरीक्षक सुभाष भुजंग,  भरोसा सेल पुलिस उपनिरीक्षक सखु राठोड,  महिला पुलिस कांस्टेबल शमशाद पठान, कल्पना धडे, दीपाली पवार, गोदावरी सरोदे आदि ने इस कार्यशाला के लिए परिश्रम किया.